बसंत कालीन गन्ने की खेती से अधिक पैदावार प्राप्त करने के लिए यह किस्में (Sugarcane Top Varieties) अधिक उपयुक्त रहेगी..
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Sugarcane Top Varieties | गन्ने की बसंतकालीन बिजाई के लिए सबसे अच्छा समय मध्य फरवरी से मार्च के अंत तक का है। गन्ने की खेती सभी प्रकार की मृदा में की जा सकती है, लेकिन दोमट और काली दोमट मृदा सर्वोत्तम मानी जाती है।
गन्ने की खेती से अच्छी पैदावार के लिए गन्ने के स्वस्थ बीज का ही चयन करें। बसंत कालीन गन्ने की बीज बुआई के समय 30-35 डिग्री सेल्सियस तापमान उत्तम माना जाता है। कम समय व कम लागत में अच्छा फायदा प्राप्त करने के लिए किसान फरवरी से मार्च मा के अंत तक बसन्तकालीन/शरद कालीन गन्ने की खेती Sugarcane Top Varieties करते हैं।
इसके साथ ही वातावरण शुष्क होने पर बुआई करनी चाहिए। बसन्तकालीन गन्ने की बुआई देर से काटे गये धान वाले खेत में और तोरिया, मटर व आलू की फसल से खाली हुए खेत में की जा सकती है। बुआई के लिए संस्तुत प्रजातियों का चयन करें।
किसान अपने खेत में गन्ने की उन्नत किस्मों (Sugarcane Top Varieties) की खेती करते हैं, तो वह कम समय में ही उच्च उपज प्राप्त कर सकते हैं। गन्ने की ऐसे ही बसंत कालीन टॉप वैरियटयों की जानकारी के साथ-साथ गन्ने की उच्च उपज प्राप्त करने के लिए क्या-क्या करना होगा आईए जानते हैं..
बसंत कालीन गन्ने की टॉप किस्में
Sugarcane Top Varieties | पश्चिमी तथा मध्य क्षेत्रों के लिए गन्ने की शीघ्र पकने वाली उन्नत प्रजातियां जैसे – सीओ 98014 (करन – 1), सीओ 0118 (करन 2), सीओ 0238 (करन – 4), सीओ 0214 (करन-5), सीओ 0238 (करन – 6 ),
सीओ 0237 (करन – 8) एवं पूर्वी उत्तर प्रदेश के लिए को. शा. 8436 व को. शा. 687 प्रमुख हैं तथा पश्चिमी एवं मध्य उत्तर प्रदेश के लिए मध्य एवं देर से पकने वाली गन्ने की उन्नत प्रजातियां जैसे- सी. ओ. एच. – 110, सी.ओ.एस. – 767, सी. ओ. एच. – 1148, सी.ओ.एच.-199, सी.ओ.एच.-99, सी.ओ. एस. – 8436 प्रमुख हैं।
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Sugarcane Top Varieties | बसंत कालीन गन्ने की बुवाई के लिए उपयुक्त समय
गन्ने की बुआई 15-20 मार्च तक पूरी कर लें। तीन आंख वाले गन्ने के टुकड़ों को 5 मिनट तक 250 ग्राम एरिटान को 100 लीटर पानी के घोल में उपचारित करें।
गन्ने की बुआई 75-90 सें.मी. दूरी पर बने कूंड़ों में 10 सें.मी. की गहराई पर करें। इसकी बुआई के लिये एक आंख वाले टुकड़े 1,33,750, दो आंख वाले टुकड़े 60,000-65,000 हजार एवं तीन आंख वाले टुकड़े 40,000-45,000 हजार या 60-70 क्विंटल / हैक्टर बीज पर्याप्त होते हैं। : Sugarcane Top Varieties
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बसंत कालीन गन्ने की अच्छी पैदावार के लिए यह करें
बसंतकालीन गन्ने के साथ अन्तर्वर्ती खेती करना अत्यन्त लाभदायक रहता है। 75 सें.मी. की दूरी पर बोई गयी गन्ने की दो पंक्तियों के बीच की दूरी में उड़द की दो पंक्ति आसानी से ली जा सकती है। ऐसा करने पर उड़द के लिए अतिरिक्त उर्वरक की आवश्यकता नहीं पड़ती है। : Sugarcane Top Varieties
बसंतकालीन गन्ने की खेती में उर्वरक प्रबंधन
गन्ने की फसल में मृदा परीक्षण के आधार पर उर्वरकों का प्रयोग करना चाहिए। यदि मृदा परीक्षण न हुआ हो तो बुआई के समय प्रति हैक्टर 60-75 कि.ग्रा. नाइट्रोजन, 80 कि.ग्रा. फॉस्फोरस व 60 कि.ग्रा. पोटाश का प्रयोग करें।
गन्ने की पेड़ी की फसल में प्रति हैक्टर 90 कि.ग्रा. नाइट्रोजन गन्ना काटने के बाद तथा इतनी ही मात्रा तीसरी सिंचाई के समय प्रयोग करें। : Sugarcane Top Varieties
खरपतवार नियंत्रण इस प्रकार करें
इसकी पेड़ी से अच्छी फसल लेने के लिए खरपतवार नियंत्रण हेतु, उगने से पहले एट्राजिन 2 कि. ग्रा. सक्रिय तत्व के रूप में प्रति हैक्टर की दर से छिड़काव करें। पेड़ी की फसल में 12-15 दिनों के अंतराल पर सिंचाई अवश्य करते रहें।
गन्ने की फसल उगते समय दीमक पोरी की आंखों को नष्ट कर देती है। कनसु के आक्रमण से पौधों की गोभ सूख जाती है। : Sugarcane Top Varieties
अतः इन दोनों कीटों से फसल को बचाने के लिए बुआई के समय 2.5 लीटर क्लोरपायरीफॉस 20 ई.सी. या 2.5 लीटर गामा बी.एच.सी. 20 ई.सी. या 600 मि.ली. फिप्रोलिन 5 एस. सी. को 600-800 लीटर पानी में घोलकर प्रति एकड़ कूड़ों में बीज के ऊपर फव्वारे से छिड़काव करें। 150 मि.ली. इमिडाक्लोरोप्रिड 200 एम.एल. को 250-300 लीटर पानी में मिलाकर छिड़काव किया जा सकता है। : Sugarcane Top Varieties
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